PBK NEWS | हैदराबाद: भारतीय रिजर्व बैंक के पूर्व गवर्नर सी रंगराजन ने गुरुवार को कहा कि मुद्रास्फीति की दर दिसंबर तक नीचे आएगी और चालू वित्त वर्ष के अंत तक यह चार प्रतिशत से नीचे रह सकती है. अक्तूबर में मुद्रास्फीति बढ़कर 3.58 प्रतिशत पर पहुंच गई. रंगराजन ने कहा कि मेरे विचार में विशेषरूप से खाद्य पदार्थों की कीमतों में तेजी का मौसम समाप्त हो गया है. अगले महीने खाद्य वस्तुओं की कीमतों में सीजन की गिरावट आएगी. वह यहां राष्ट्रीय लोक वित्त एवं नीति संस्थान के निदेशक रतिन राय के व्याख्यान के मौके पर अलग से बातचीत कर रहे थे.
इसका आयोजन आईसीएफएआई फाउंडेशन फॉर हायर एजुकेशन ने किया था. उन्होंने आगे कहा कि मुद्रास्फीति चार प्रतिशत के दायरे में रहेगी, जिसकी हम बात कर रहे हैं. यह चार प्रतिशत या उससे कुछ नीचे रहेगी. प्याज और सब्जियां महंगी होने से अक्तूबर में थोक मूल्य सूचकांक आधारित सात महीने के उच्चस्तर पर पहुंच गई है. हालांकि, रंगराजन ने इस सवाल का जवाब नहीं दिया कि रिजर्व बैंक को अगले महीने पेश होने वाली मौद्रिक समीक्षा में नीतिगत दर के बारे में निर्णय लेते समय क्या मुद्रास्फीति पर ध्यान देना चाहिए.
इससे पहले अपने संबोधन में रंगराजन ने कहा कि बाजार में बेचे जाने योग्य सामान में सरकार की उत्पादक के रूप में भूमिका घट रही है। उन्होंने कहा कि सरकार की नियामक के रूप में महत्वपूर्ण भूमिका है। मौजूदा बाजार परिस्थितियों में प्रणाली और ढांचे को प्रतिस्पर्धी बनाए रखने के लिए यह जरूरी है.
News Source: khabar.ndtv.com
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