बादशाहपुर, 19 फरवरी (अजय) : गुरुग्राम शहर में प्रदूषण को कंट्रोल करने के लिए प्रदूषण क्षेत्रीय अधिकारी गम्भीर नजर नही आ रहे है। दक्षिण क्षेत्र में निर्माणाधीन साइटों से उड़ रही धूल तथा फ्लाईओवर व रोड निर्माण कम्पनियों द्वारा की जा रही लापरवाही के प्रति जानकारी होने के बावजूद दक्षिण क्षेत्र के अधिकारी उन पर मेहरबान नजर आ रहे है। गुरुग्राम के दक्षिणी क्षेत्र के सेक्टर रोड पर चल रहे निर्माण कार्यो से उड़ती धुल तथा रोड पर जमा मिट्टी से बनते धुल के गुब्बार तथा अन्य जगहों पर कूड़ा जलाने वालों मामलों पर प्रदुषण कंट्रोल बोर्ड के अधिकारी नींद गोली खाकर इस कदर सो रहे है कि उन्हें इन समस्याओं से कोई लेना देना नही है। लोगों द्वारा शिकायत के बावजूद अधिकारी इन शिकायतों पर अभी तक कोई संज्ञान लेते नही दिखे है। लोगों का कहना है कि प्रदुषण कंट्रोल बोर्ड के अधिकारीयों की न्युक्ति यहाँ प्रदुषण कंट्रोल करने तथा क्षेत्र में स्वच्छ वातावरण को लेकर व्यवस्था बनाने के लिए लगाया गया है, जबकि इन अधिकारीयों द्वारा क्षेत्र की समस्याओं को दुरुस्त करने की बजाए अपने निजी स्वार्थ में जुटे होने की वजह से लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
सडकों पर जमा मिट्टी के ढेर लोगों के आवागमन में भारी दिक्कत पैदा कर रही है, जिससे शहर का प्रदुषण स्तर पर बढ़ रहा है साथ ही यहाँ से निकलने वाले वाहनों को आँखों सहित अन्य चर्म रोगों का भी सामना करना पड़ रहा है। एसपीआर चौक के पास तो हालत बेहद ही खराब है, जिस पर सम्बधित विभाग के अधिकारीयों ने अपनी आँखे बंद की हुई है। सड़क पर धूल इतनी मात्रा में उड़ रही है कि लोगों को दिन में ही अपने वाहनों की हेडलाइट जलानी पड़ रही है। सोहना रोड पर भी टूटे रोड से हरवक्त धुल उडती नजर आती है। मिट्टी से बने धूल के गुबार राहगीरों को परेशानी का सबब बन जाते हैं। साथ ही सड़क पर दुकान खोले दुकानदार पिछले एक माह से रोजाना गड्ढ़ों की धूल खाकर बीमारी की ओर बढ़ रहे हैं। सम्बधित विभाग के अधिकारीयों तथा प्रदुषण कंट्रोल बोर्ड के दक्षिणी क्षेत्र के अधिकारीयों ने इस समस्यां पर शिकायत के बावजूद कोई कार्यवाही नही की और उनसे फोन पर कई बार सम्पर्क किया लेकिन उन्होंने फोन नही उठाया और मेसेज का भी कोई जवाब नही दिया। जिससे अधिकारीयों की तानाशाही और शिकायतों के प्रति लापरवाही साफ़ नजर आती है।
जिला उपायुक्त वर्जन :
गुरुग्राम में प्रदुषण कंट्रोल करने के लिए अधिकारीयों की जिम्मेदारी तय की हुई है, क्षेत्रीय अधिकारीयों द्वारा यदि शिकायतों पर कोई कार्यवाही नही की तो वह स्वयं इसे देखेगें और इस समस्यां का निदान किया जाएगा। आगे से इस तरह की समस्यां लोगों को नही आएगी, यदि कोई अधिकारी शिकायत नही सुनेगा उससे जवाब लिया जाएगा।
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