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दीपावली पर कम रहा पटाखों का शोर, जागरूकता के चलते लोगों ने मनाई ईको दिवाली

दीपावली पर कम रहा पटाखों का शोर, जागरूकता के चलते लोगों ने मनाई ईको दिवाली

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बादशाहपुर, 13 नवम्बर (अजय) : गुरुग्राम एक विकासशील शहर जो अपनी तेजी से विकास के लिए प्रसिद्ध है, जहां इस बार लोगों ने दीपावली को एक नए और अनोखे तरीके से मनाया। शहर के निवासीयो ने अपनी ईमानदारी का परिचय दिया, कुछ जगहों पर थोड़े बहुत लोगों को छोड़कर सभी ने शोर और प्रदुषण छोड़कर, अस्थायी अंतरबल के लिए प्रकाश प्रदर्शित करने वाले एक आदान-प्रदान का चयन किया। नरेश सहरावत ने कहा कि दीपावली दीपोत्सव त्यौहार है जिसको हमे उसी तरह मनाना चाहिए।

 शहर की गली मोहल्ले व् बाजारों की सड़कों को सजाया गया था, घर और दुकानों की छतों और खिड़कियों को दीपकों और रंगबिरंगी बल्बों की लड़ियों के सागर से सजाया गया था जो शाम की छाया में उज्ज्वलता फैला रहे थी। घरों और गली मोहल्लों में बच्चों की हंसी और उनकी खुशी का शोर गूंज रहा था, जो अपने हाथों में मोमबत्तियाँ और फूलझड़ी लेकर घूम रहे थे।

 लोगों ने मिठाईयाँ बाटी, उपहार स्वापित किए, और एक दूसरे के घरों में मेहमान बनकर आपसी साझेदारी और एकजुटता का उत्सव मनाया। गुरुग्राम की दीपावली ने सहस्त्रों दिलों में खुशी की ज्योति जलाई। इस शहर ने यह शाबित कर दिया है कि दीपावली शांति और खुशी के साथ पर्व मनाने की शक्ति का प्रतीक है, बिना कोई शोर और अपने परम्परागत शोर और रौनक को छोड़े यह दर्शाता है कि मनुष्यता के सम्मान में एक कदम बढ़ाते हुए, हम सभी पर्वों के प्रकाश को आगे बढ़ा सकते हैं।

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