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उत्तर कोरिया के खिलाफ और सख्त हुआ अमेरिका

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PBK News : घातक हथियारों के खतरों पर विचार के लिए कनाडा में एकत्रित हुए 20 देशों के विदेश मंत्रियों ने उत्तर कोरिया पर प्रतिबंधों को और कड़ा किए जाने की आवश्यकता जताई है। अमेरिका के विदेश मंत्री रेक्स टिलरसन ने साफ कर दिया है कि परमाणु निशस्त्रीकरण पर उत्तर कोरिया बातचीत को तैयार नहीं हुआ तो उसके खिलाफ सैन्य कार्रवाई का विकल्प खुला रहेगा। इस सम्मेलन का आयोजन अमेरिका और कनाडा ने संयुक्त रूप किया है। सम्मेलन में भाग नहीं ले रहे चीन ने कहा है कि इसमें शीत युद्ध काल की बातें ध्वनित हो रही हैं। तनाव कम करने के दोनों पक्षों के प्रयासों को देखा जाना चाहिए।

इस सम्मेलन में वही 20 देश हिस्सा ले रहे हैं जिन्होंने सन 1950 से 1953 तक उत्तर कोरिया के साथ चले युद्ध में दक्षिण कोरिया का साथ दिया था। इन देशों ने दोनों देशों की बातचीत शुरू होने का समर्थन किया। समस्या का बातचीत के जरिये समाधान संभव है। इस दौरान अमेरिकी विदेश मंत्री ने उत्तर कोरिया के परमाणु और मिसाइल ठिकानों पर अमेरिकी कार्रवाई की संभावना पर कोई टिप्पणी नहीं की।

उन्होंने कहा, इस पर अमेरिका की राष्ट्रीय सुरक्षा परिषद या राष्ट्रपति ही फैसला ले सकते हैं। लेकिन उन्होंने यह कहा कि उत्तर कोरिया की ओर से खतरा बढ़ता जा रहा है। टिलरसन ने यह बात उत्तर कोरिया की ओर से आए इस बयान के बाद कही है कि वह अपने परमाणु हथियारों पर किसी से कोई बात करने के लिए तैयार नहीं है। उत्तर कोरिया के परमाणु हथियार और बैलेस्टिक मिसाइल सिर्फ अमेरिका को ध्यान में रखकर बनाए गए हैं।

टिलरसन ने कहा, सम्मेलन में शामिल देश उत्तर कोरिया पर और ज्यादा दबाव बढ़ाए जाने के पक्षधर हैं। वे चाहते हैं कि चीन और रूस उत्तर कोरिया पर लगे संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के प्रतिबंधों का और कड़ाई से पालन करें। उत्तर कोरिया से नजदीकी संबंधों वाले चीन और रूस इस सम्मेलन में भाग नहीं ले रहे हैं।

बातचीत के बहाने समय तो नहीं ले रहा उ. कोरिया

सम्मेलन में शामिल जापान के विदेश मंत्री तारो कोनो ने कहा, दक्षिण कोरिया से वार्ता शुरू करने के लिए उत्तर कोरिया को राहत देने या उसे इनाम देने का वक्त नहीं है। यह देखने का समय है कि कहीं बातचीत के बहाने उत्तर कोरिया अपने हथियारों की गुणवत्ता और संख्या बढ़ाने का वक्त तो नहीं ले रहा। वह बातचीत शुरू करके कुछ राहत पाने की फिराक में भी है। दक्षिण कोरिया की विदेश मंत्री कांग क्यूंग व्हा ने कहा, उम्मीद है कि विंटर ओलंपिक के बाद भी उनके देश की उत्तर कोरिया के साथ वार्ता जारी रहेगी। लेकिन प्रतिबंधित देश पर कड़ाई जारी रहनी चाहिए।

source by : dainik jagran

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