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प्रधानमंत्री के नेतृत्व में भारत सरकार ने जांच आयोग अधिनियम, 1952 के तहत मणिपुर में 03.05.2023 और उसके बाद हुई हिंसा की घटनाओं की जांच के लिए एक जांच आयोग को किया है अधिसूचित

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नई दिल्ली, 05 जून। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी के नेतृत्व में भारत सरकार ने जांच आयोग अधिनियम, 1952 के तहत एक जांच आयोग को अधिसूचित किया है जिसकी अध्यक्षता गौहाटी उच्च न्यायालय के पूर्व मुख्य न्यायाधीश, न्यायमूर्ति अजय लांबा करेंगे और हिमांशु शेखर दास, आईएएस (सेवानिवृत्त) और आलोक प्रभाकर, आईपीएस (सेवानिवृत्त) आयोग के सदस्य होंगे। ये आयोग मणिपुर में 03.05.2023 और उसके बाद हुई हिंसा की घटनाओं की जांच करेगा।

आयोग मणिपुर में हुई हिंसा के कारणों और उसके प्रसार की जाँच और क्या किसी जिम्मेदार प्राधिकारियों या व्यक्तियों की ओर से कोई संभावित चूक हुई है की जांच करेगा।

केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने 29 मई, 2023 से 01 जून, 2023 तक मणिपुर का दौरा किया था और स्थिति का जायजा लेने के बाद जांच आयोग के गठन की घोषणा की थी।

आयोग जल्द से जल्द केंद्र सरकार को अपनी रिपोर्ट देगा, जो इसकी पहली बैठक की तारीख से छह महीने पूरे होने से पहले देनी होगी। आयोग का मुख्यालय इम्फाल में होगा।

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